सरकार ने पिछले हफ्ते पुणे में ओला इलेक्ट्रिक स्कूटर में आग लगने की घटना की जांच के आदेश दिए हैं। सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय (MoRTH) के अनुसार, सेंटर फॉर फायर एक्सप्लोसिव एंड एनवायरनमेंट सेफ्टी (CFEES) को उन परिस्थितियों की जांच करने के लिए कहा गया है, जिनके कारण घटना हुई है। इसके साथ ही उसे उपाय भी सुझाने को कहा गया है कि ऐसी घटनाएं रोकी जा सकें।

CFEES को लिखे पत्र में, मंत्रालय ने जांच के नतीजों को साझा करने के लिए कहा है। साथ ही सुधार के लिए उपचारात्मक उपायों के सुझाव भी साझा करने को कहा है ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं पर रोक लग सके। 

शनिवार को ओला इलेक्ट्रिक ने कहा कि वह पुणे में उसके इलेक्ट्रिक स्कूटर में आग लगने की घटना की जांच कर रही है और वह उचित कार्रवाई करेगी। कंपनी के इलेक्ट्रिक स्कूटर में आग लगने का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था। जिसके बाद यूजर्स ने वाहन के सेफ्टी स्टैंडर्ड पर सवाल उठाए।

घटना पर प्रतिक्रिया देते हुए ओला के सह-संस्थापक और सीईओ भाविश अग्रवाल ने कहा था, "सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है। हम इसकी जांच कर रहे हैं और इसे ठीक कर देंगे।"  सेंटर फॉर फायर एक्सप्लोसिव एंड एनवायरनमेंट सेफ्टी (CFEES) DRDO लैब के SAM (सिस्टम एनालिसिस एंड मॉडलिंग) क्लस्टर का हिस्सा है।